उपमंडल में युवाओं और आमजन को नशे के दुष्प्रभावों के प्रति किया जा रहा है जागरूक
करसोग। नशा मुक्त अभियान के अंतर्गत करसोग उपमंडल के लगभग दो दर्जन स्कूलों व ग्राम पंचयातों में नशे से बचाव और इसके दुष्प्रभावों के प्रति जागरूकता शिविरों का आयोजन किया गया है। एसडीएम करसोग गौरव महाजन ने बताया कि सामाजिक न्याय एवं अधिकारिता विभाग के सौजन्य से आयोजित इन शिविरों में नशा निवारण से सम्बंधित अनेक गतिविधियां आयोजित की जा रही है।
उन्होंने बताया कि जिला प्रशासन की पहल स्वस्थ मंडी, नशा मुक्त मंडी के सपने को साकार करने के हर संभव प्रयास किए जा रहे है। उन्होंने कहा कि अभियान के अन्तर्गत अब तक करसोग क्षेत्र की राजकीय वरिष्ठ माध्यमिक पाठशाला ग्वालपुर, महोग, चुराग, पांगणा, खील, शोरसन, भंथल, करसोग, लालग, पोखी व राजकीय उच्च पाठशाला पुराना बाजार, मतेहल, राजकीय औद्योगिक प्रशिक्षण संस्थान करसोग में जागरूकता शिवरों का आयोजन कर संस्थानों में अध्यनरत छात्र-छात्राओं को नशे के दुष्प्रभावों से अवगत करवाने के उद्देश्य से जागरूकता शिविर आयोजित किए गए है। इन जागरूकता शिविरों में छात्र-छात्राओं के लिए पोस्टर मेकिंग, कविता और भाषण इत्यादि गतिविधियां आयोजित कर नशे से दूर रहने का संदेश दिया गया है।
एसडीएम ने बताया कि उपमंडल की ग्राम पंचायत ग्वालपुर, महोग, सराहन, नांज, सेरी, बग्श्याड, कनेरी महोग, भंथल, कांडा, सुई कुफरीधार, बखरोट व लोअर करसोग में भी जागरूकता कैंपों का आयोजन किया गया है। पंचायतों के चुने हुए जन प्रतिनिधियों के सहयोग से आयोजित इन कैंपों में लोगों को नशे जैसी बुराई से नाता तोड़ने और समाज से इस बुराई को खत्म करने के लिए इसकेे खिलाफ एक जुट होकर लड़ने के लिए लोगों को जागरूक किया गया है। जिसके लिए सभी को मिलकर कार्य करने की आवशयकता है।
उन्होंने बताया कि नशा एक ऐसी सामाजिक बुराई है, जिसका प्रभाव न केवल व्यक्ति के स्वास्थ्य पर होता है बल्कि नशा करने वाले व्यक्ति का परिवार भी इससे प्रभावित होता है।
नशा व्यक्ति को अंदर ही अंदर खोखला कर देता है। उन्होंने कहा कि प्रत्येक माता-पिता को अपने बच्चों को नशे के दुष्प्रभावों से अवगत करवाना चाहिए और उन्हें नशे से दूर रहने के लिए प्रेरित करना चाहिए। उन्होंने कहा कि युवा हमारे देश का भविष्य है। हमें युवा पीढ़ी को नशे से बचाने के लिए आगे आ कर, इसमें अपना योगदान देना होगा।