अपने गृह जिले हमीरपुर के लिए मुख्यमंत्री सुक्खू ने
लगाई सौगातों की झड़ी

शिमला, 04 फरवरी। मुख्यमंत्री ठाकुर सुखविंदर सिंह सुक्खू ने अपने गृह जिला हमीरपुर के लिए सौगातों की झड़ी लगा दी है। उन्होंने शनिवार को हमीरपुर के गांधी चौक में आयोजित जनसभा में कहा कि हमीरपुर में नया बस स्टैंड निर्मित करने के लिए बजट में धन का समुचित प्रावधान किया जाएगा। उन्होंने हमीरपुर में आधुनिक सुविधाओं से युक्त इनडोर स्टेडियम खोलने की घोषणा भी की। उन्होंने कहा कि गसोता महादेव मंदिर को धार्मिक पर्यटन की दृष्टि से विकसित किया जाएगा और ताल में पशु चिकित्सा महाविद्यालय खोलने की संभावनाएं तलाश की जाएंगी।

ठाकुर सुखविंदर सिंह सुक्खू ने कहा कि राज्य सरकार हिमाचल को देश का सबसे विकसित राज्य बनाने की दिशा में प्रभावी कदम उठा रही है तथा अनेक महत्वाकांक्षी योजनाएं और कार्यक्रम कार्यान्वित किए जा रहे हैं।
उन्होंने कहा कि राज्य सरकार हमीरपुर जिले के सर्वांगीण विकास के लिए ठोस एवं सार्थक कदम उठाएगी। उन्होंने कहा कि डॉ. राधाकृष्णन चिकित्सा महाविद्यालय हमीरपुर में विश्व स्तरीय तकनीक युक्त चिकित्सा उपकरण उपलब्ध करवाए जाएंगे ताकि क्षेत्र के लोगों को बेहतरीन सुविधाएं उपलब्ध करवाई जा सकें। उन्होंने कहा कि इस महाविद्यालय के पूर्ण होने के उपरांत लोगों को उपचार के लिए एम्स, टांडा, आईजीएमसी तथा अन्य निजी अस्पतालों में नहीं जाना पड़ेगा। उन्होंने चिकित्सा महाविद्यालय में नर्सिंग महाविद्यालय खोलने की घोषणा भी की।

मुख्यमंत्री ने कहा कि वर्तमान सरकार ने मंत्रिमंडल की पहली ही बैठक में प्रदेश के 1.36 लाख कर्मचारियों की मांग को पूरा करते हुए पुरानी पेंशन बहाल कर दी है। महिलाओं को 1500 रुपये प्रति माह प्रदान करने के लिए भी प्रक्रिया शुरू कर दी गई है। मुख्यमंत्री ने कहा कि हमने जो कहा, वह पूरा किया है। प्रदेश सरकार अपने सभी वायदों को चरणबद्ध तरीके से पूरा करेगी।

उन्होंने कहा कि ग्रामीण अर्थव्यवस्था को मजूबत करने के लिए एक हजार करोड़ रुपए का प्रावधान किया जाएगा। सरकार किसानों से गाय का दूध 80 रुपये प्रति लीटर तथा भैंस का दूध 100 रुपये प्रति लीटर की दर से खरीदेगी। उन्होंने कहा कि वह सत्ता सुख के लिए नहीं, बल्कि व्यवस्था परिवर्तन के लिए आए हैं और इसमें सबका सहयोग अपेक्षित है। सामूहिक प्रयासों से ही हिमाचल प्रदेश की आर्थिक स्थिति को सुदृढ़ किया जा सकता है।

मुख्यमंत्री ने कहा कि प्रदेश में लोग उनका परिवार है और प्रदेश सरकार हिमाचल को विकास की नई ऊंचाइयों पर ले जाने के लिए दिन-रात मेहनत कर रही है। उन्होंने कहा कि वह 40 वर्षों से भी अधिक समय से जन सेवा से जुड़े हुए हैं और लोगों के सुख-दुःख से भली-भांति परिचित हैं। उन्होंने कहा कि सरकार गठन के पहले दिन से ही वंचित वर्ग के उत्थान के लिए कार्य कर रही है। अनाथ बच्चों की देखभाल के लिए आयु बढ़ाकर 27 वर्ष कर दी है और उन्हें घर बनाने के लिए चार बिस्वा जमीन भी दी जाएगी। साथ ही सरकार उनकी उच्च शिक्षा का खर्च भी उठाएगी।

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