मुख्यमंत्री सुखविंदर सिंह सुक्खू ने प्राइमरी शिक्षकों को वितरित किए टैबलेट

हमीरपुर। मुख्यमंत्री सुखविंदर सिंह सुक्खू ने आज हमीरपुर के पुलिस मैदान में आयोजित एक समारोह में प्रदेश के प्राइमरी शिक्षकों को टैबलेट वितरित किए। प्रदेश में करीब 17510 शिक्षकों को टैबलेट दिए जा रहे हैं। इसके साथ ही मुख्यमंत्री ने प्रदेश में नर्सरी से 8वीं कक्षा तक के बच्चों के लिए मुख्यमंत्री बाल पौष्टिक आहार योजना का शुभारंभ भी किया।
इस अवसर पर मुख्यमंत्री सुखविंदर सिंह सुक्खू कहा कि वे खुद सरकारी स्कूल से पढ़े हैं, हालांकि उनके समय बच्चों की बेसिक एजुकेशन पर जोर दिया जाता था। मुख्यमंत्री ने कहा कि डेढ़ साल पहले सत्ता में आने पर उनकी सरकार ने शिक्षा के क्षेत्र में बड़े कदम उठाने का फैसला लिया। इसके बाद सरकार इस दिशा में बढ़ रही है।
मुख्यमंत्री ने कहा कि पिछली सरकार ने राजनीतिक फायदे के लिए बिना शिक्षकों की भर्ती के 400 स्कूल खोले। इसके लिए दूसरे स्कूलों से शिक्षकों को तैनात किया गया, जिससे उन स्कूलों में भी पढ़ाई प्रभावित हुई। ऐसे में सरकार ने इन स्कूलों को बंद करने का फैसला लिया।
मुख्यमंत्री ने कहा कि सरकार ने गुणात्मक शिक्षा के लिए पर्याप्त बजट का प्रावधान किया है। वहीं 200 शिक्षकों को सिंगापुर के एक्सपोजर टुर पर भेजा ताकि वहां की शिक्षा पद्धति का अध्ययन कर हिमाचल में इसे लागू किया जा सके। वहीं सरकार ने आधुनिक सुविधाओं से युक्त राजीव गांधी डे बोर्डिंग स्कूल खोलने का भी फैसला लिया। इसके अलावा बीच सत्र में शिक्षकों की ट्रांसफर पर रोक लगाई गई, जिससे कि बच्चों की पढ़ाई प्रभावित न हो।
मुख्यमंत्री सुखविंदर सिंह सुक्खू ने कहा कि प्रदेश सरकार आर्थिक तंगी के बावजूद स्कूली बच्चों के पोषण स्तर सुधारने के लिए अपने संसाधनों से मुख्यमंत्री बाल पौष्टिक आहार योजना लाई है। उन्होंने कहा कि यह व्यवस्था परिवर्तन है।
मुख्यमंत्री ने कहा कि सरकार ने ऐसे स्कूलों को मर्ज करने का फैसला लिया है जहां एक से दो बच्चे हैं। सरकार चाहती है कि हर प्राइमरी स्कूल में 5 शिक्षक हो। उन्होंने साफ कहा कि सरकार के इस फैसले किसी भी बच्चे की शिक्षा प्रभावित नहीं होने दी जाएगी। इन बच्चों को दूसरे स्कूलों तक पहुंचाने का ट्रांसपोर्टेशन खर्च सरकार वहन करेगी, फिर चाहे इसके लिए एक बच्चे पर 20 हजार का खर्च ही क्यों न करना पड़े।

मुख्यमंत्री ने कहा कि बच्चों को बेहतर शिक्षा प्रदान करने के मकसद से सरकार डे बोर्डिंग स्कूलों के साथ-साथ प्रदेश में 850 सेंटर ऑफ एक्सीलेंस भी खोल रही हैं। उन्होंने कहा कि शिक्षक केवल पढ़ाई का ही कार्य करे, इसे देखते हुए सरकार ने डाक का काम आउटसोर्स पर देने का फैसला लिया है।

मुख्यमंत्री ने शिक्षकों की अहमियत पर कहा कि शिक्षक बच्चों की सोच में बदलाव लाते हैं और उनके भविष्य का निर्माण करते हैं। शिक्षक दरअसल बच्चों के लिए मॉडल होते हैं, ऐसे में शिक्षकों की जिम्मेदारी काफी ज्यादा है।
मुख्यमंत्री ने कहा कि आर्थिक तंगी के बावजूद सरकार ने सभी वर्गों के उत्थान के लिए कई अहम योजनाएं बनाईं। अनाथ बच्चों के लिए सुखाश्रय योजना शुरू कर 6 हजार बच्चों को चिल्ड्रन ऑफ स्टेट घोषित किया। आज सरकार 18 साल से अधिक के निराश्रित बच्चों की पढ़ाई का खर्च वहन कर रही है। यही नहीं इन बच्चों को मेडिकल, आईआईटी जैसी पढ़ाई के लिए फीस, कोचिंग और हास्टल खर्च के साथ ही उनको पॉकेट मनी भी दे रही है। ऐसे बच्चों के 27 साल तक की आयु तक का पूरा खर्च के अलावा शादी और घर बनाने के लिए भी सरकार मदद कर रही है।
मुख्यमंत्री ने कहा कि सामाजिक सुरक्षा की नजरिए को देखते हुए उनकी सरकार दिव्यांग बच्चों के लिए सोलन के कंडाघाट में 150 करोड़ से एक्सीलेंस सेंटर बनाने जा रही है।
मुख्यमंत्री ने युवाओं के नशे की चपेट में आने पर चिंता व्यक्त करते हुए कहा कि सरकार इससे निपटने के लिए कदम उठा रही है। नशे से निपटने के लिए पुलिस के 1200 सुपर कमांडो की फोर्स बनाने के साथ ही सोलन के साथ लगते सिरमौर जिला में 150 बीघा से जमीन पर एक आधुनिक नशा मुक्ति सेंटर खोला जा रहा है। यह उत्तरी भारत का ऐसा पहला नशा मुक्ति केंद्र होगा।

सुखविंदर सिंह सुक्खू ने कहा कि 15 अगस्त को उन्होंने देहरा में ऐलान किया है कि विधवाओं, एकल नारियों के बच्चों या गोद लेने वाली महिलाओं के बच्चों की पढ़ाई का सारा खर्च सरकार उठाएगी। इनका हास्टल का खर्च भी सरकार वहन करेगी, जहां हास्टल नहीं वहां रहने के लिए 3000 रुपए का किराया भी सरकार देगी। मुख्यमंत्री ने कहा कि सरकार युवाओं को मशीन लर्निंग, एआई जैसे भविष्य की तकनीकी शिक्षा देने के लिए भी कदम उठा रही है।
उन्होंने शिक्षकों का आवाहन किया कि बच्चों को गुणवत्ता शिक्षा प्रदान करने के लिए सरकार को सहयोग दें।

शिक्षा विभाग के लिए आज का दिन ऐतिहासिकः रोहित ठाकुर
शिक्षा मंत्री रोहित ठाकुर ने कहा कि शिक्षा विभाग के लिए आज का दिन ऐतिहासिक दिन है। शिक्षा मंत्री ने कहा कि मुख्यमंत्री सुखविंदर सिंह सुक्खू के आशीर्वाद और प्रेरणा से पिछले डेढ़ साल में शिक्षा विभाग को गुणवत्ता की ओर ले जाने के प्रयास किए गए। विभाग ने कुछ ऐसे फैसले लिए हैं जिनको कठोर बताया जा रहा है। लेकिन अंततः इनका लाभ शिक्षा व्यवस्था को मिलेगा।
शिक्षा मंत्री ने कहा कि प्राइमरी शिक्षकों को टैबलेट देने के सार्थक परिणाम होंगे। इनसे शिक्षकों को पढ़ाने और खासकर मूल्यांकन करने में मदद मिलेगी।
शिक्षा मंत्री ने कहा कि टैबलेट वितरण करना विभाग का डिजिटाइजेशन की तरफ एक अहम कदम है।
रोहित ठाकुर ने कहा कि मुख्यमंत्री सुखविंदर सिंह सुक्खू ने मुख्यमंत्री बाल पौष्टिक आहार योजना की शुरुआत की है, उन्होंने कहा कि आने वाली पीढ़ी को पौष्टिक आहार मिले, इस सोच के साथ यह योजना लाई गई है। इसका लाभ करीब साढ़े पांच लाख बच्चों को मिलेगा। इस योजना के तहत बुधवार के दिन बच्चों को अंडा या मौसमी फल प्रदान किया जाएगा। इसके लिए करीब 12.75 करोड़ रखा गया है।

शिक्षा मंत्री ने कहा कि चरमराती शिक्षा व्यवस्था इस सरकार को विरासत में मिली थी और तब प्रदेश के स्कूलों में 15000 से अधिक पद खाली पड़े थे। हिमाचल का ग्रेडिंग इंडेक्स भी नीचे था। सरकार बनने के बाद मुख्यमंत्री के निर्देश पर शिक्षा क्षेत्र में अहम कदम उठाए गए। मुख्यमंत्री ने पहले साल ही शिक्षकों के करीब 7000 पदों को भरने की मंजूरी दी है, जिनमे से बैच वाइज भर्तियां पूरी की जा चुकी हैं।
शिक्षा मंत्री ने कहा कि नए भर्ती शिक्षकों को बिना शिक्षकों वाले स्कूलों में तैनात करने की सरकार की प्राथमिकता रहेगी। शिक्षा विभाग का पूरा प्रयास रहेगा कि प्रदेश में एक भी प्राथमिक स्कूल खाली न रहे।
शिक्षा मंत्री ने कहा कि सरकार ने जीरो एनरोलमेंट वाले स्कूलों को बंद करने के साथ ही पांच से कम बच्चों वाले स्कूलो को मर्ज करने का फैसला लिया है। इन बच्चों को साथ में लगते स्कूलों में मर्ज किया जाएगा।
सरकार ने क्लस्टर स्कूल सिस्टम आरंभ किया है, जिसके माध्यम से संसाधनों का समन्वय के साथ उपयोग किया जा सकेगा। इसके सकारात्मक परिणाम आएंगे। इसके साथ ही सरकार ने 850 एक्सीलेंस संस्थान स्थापित करने का फैसला लिया है ताकि सरकारी क्षेत्रों में भी स्कूलों का शैक्षणिक स्तर बढ़े।
उन्होंने कहा कि शिक्षा विभाग ने नेशनल सर्वेक्षण परख-2024 की तैयारियों के लिए बच्चों का मूल्यांकन करने के मकसद से स्टेट लेवल अचीवमेंट सर्वे किया है। उन्होंने सभी शिक्षकों से परख सर्वेक्षण को गंभीरता से लेने का आग्रह किया।
शिक्षा मंत्री ने कहा कि प्रदेश में बेहतर शिक्षा देने के लिए मुख्यमंत्री राजीव गांधी डे बोर्डिंग योजना को जमीन पर उतारने की दिशा में काम किया जा रहा है।
रोहित ठाकुर ने कहा कि विदेशों में शिक्षा प्रणाली का अध्ययन कर इसे हिमाचल में लागू करने के लिए शिक्षकों को विदेश में एक्पोजर टुर पर भेजा गया।

शिक्षा मंत्री ने समग्र शिक्षा के कार्यों की तारीफ की
शिक्षा मंत्री रोहित ठाकुर ने समग्र शिक्षा के कार्यों की तारीफ करते हुए कहा कि इसके अधिकारियों ने बड़ी निष्ठा के साथ काम किया है। इनकी बदौलत ही केंद्र से हिमाचल पूरी राशि ले पाया है। शिक्षा मंत्री ने कहा कि 2020 में शुरू किए गए STARS प्रोजेक्ट में तीन सालों में प्रगति बेहद धीमी रही। लेकिन 2023-24 में इसके तहत 100 फीसदी राशि को खर्च किया गया। इसी तरह पूर्व में समग्र शिक्षा के तहत मात्र मिली राशि का मात्र 7 फीसदी खर्च होता था जबकि हमने इसका करीब 98 फीसदी पैसा खर्च किया है। इसका नतीजा है कि समग्र शिक्षा के तहत पिछले साल 900 करोड़ हिमाचल को मिले हैं। इसके अतिरिक्त 150 करोड़ रुपए बतौर प्रोत्साहन हिमाचल को मिला है। उन्होंने उम्मीद जताई कि पिछले साल की तरह इस साल भी समग्र शिक्षा बेहतर प्रदर्शन करेगा।
शिक्षा मंत्री ने कहा कि प्रदेश के सभी मुख्यमंत्री और अधिकारी सरकारी स्कूलों से निकले हैं। हालांकि कुछ समय से सरकारी स्कूलों की शिक्षा की गुणवत्ता में कमी आई है। ऐसे में सरकार ने प्रण लिया है कि आने वाले तीन-चार सालों में शिक्षा के मामले में हिमाचल को अग्रणी राज्य बनाया जाएगा।

शिक्षा के क्षेत्र में उठाए जा रहे महत्वपूर्ण कदमः राजेश शर्मा
समग्र शिक्षा हिमाचल के निदेशक राजेश शर्मा ने मुख्यमंत्री सुखविंदर सिंह सुक्खू, शिक्षा मंत्री सहित अन्य गणमान्य व्यक्तियों का स्वागत करते हुए कहा कि सरकार शिक्षा के क्षेत्र में महत्वपूर्ण कदम उठा रही हैं। राजेश शर्मा ने टैबलेट वितरण और मुख्यमंत्री बाल पौष्टिक आहार योजना शुरू करने पर कहा कि यह गर्व का दिन है। उन्होंने कहा कि सरकार का यह कदम शिक्षा के क्षेत्र में हिमाचल के भविष्य को उज्जवल बनाएगा। उन्होंने कहा कि मुख्यमंत्री सुखविंदर सिंह सुक्खू की दूरदर्शी सोच व नेतृत्व से यह संभव हो पाया है। उन्होंने कहा कि समग्र शिक्षा ने हिमाचल के हर कोने में गुणात्मक शिक्षा पहुंचाने के साथ साथ पठन-पाठन को अधिक रुचिपूर्ण बनाने का प्रयास किया।
राजेश शर्मा ने कहा कि समग्र शिक्षा इस साल सभी विद्यालयों में कंप्यूटर लैब स्थापित कर लेगा। उन्होंने कहा कि हिमाचल में करीब 7611 स्कूलों में स्मार्ट कक्षाएं शुरु की जा रही है। उन्होंने कहा कि शिक्षकों को जो लैपटॉप वितरित गए हैं, उनसे शिक्षक डिजिटल संसाधन तक पहुंच बना पाएंगे। इससे शिक्षकों का आनलाइन प्रशिक्षण भी किया जा सकेगा। उन्होंने सभी शिक्षकों का आवाहन किया कि वे इनका पूरा उपयोग करें और शिक्षण को रोचक और प्रभावी बनाएं।
समग्र शिक्षा निदेशक ने मुख्यमंत्री बाल पौष्टिक आहार योजना शुरू करने पर कहा कि यह योजना एक मील का पत्थर साबित होगी। उन्होंने कहा कि बच्चों की शारीरिक और समग्र विकास के लिए मुख्यमंत्री बाल पौष्टिक आहार योजना लाई गई है। यह बच्चों को शारीरिक तौर पर भी स्वस्थ बनाने में मददगार साबित होगी। इससे बच्चों का स्वास्थ्य सुनिश्चित करने के साथ ही उच्च गुणवत्तापूर्ण शिक्षा प्रदान करने में मदद मिलेगी।
इस मौके पर टैबलेट देने के लिए प्राथमिक शिक्षक संघ ने मुख्यमंत्री का एक बड़ा फूलों का हार डालकर उनका आभार जताया।

स्कूलों को भी टैबलेट प्रदान किए
मुख्यमंत्री ने एजुकेशन इनिश्येटिव कंपनी की ओर से बच्चों के माध्यम से प्राथमिक स्कूलों को भी टैबलेट वितरित किए। एजुकेशन इनिश्येटिव कंपनी की ओर से सीएसआर फंड के तहत प्रदेश के दो हजार प्राथमिक स्कूलों को टैबलेट प्रदान किए जा रहे हैं। कंपनी माइंड स्पार्क अभियान के तहत प्राइमरी स्कूलों के ये टैबलेट प्रदान करेगी। इनके माध्यम से बच्चे मैथ और भाषा की पढ़ाई कर पाएंगे।
इससे पहले समग्र शिक्षा निदेशक राजेश शर्मा ने मुख्यमंत्री सुखविंदर सिंह सुक्खू को पारंपरिक टोपी और शाल देकर सम्मानित किया। उन्होंने मुख्यमंत्री को सरस्वती मां की प्रतिमा भी भेंट की।
प्रारंभिक शिक्षा निदेशक आशीष कोहली ने शिक्षा मंत्री का अभिनंदन किया। उच्च शिक्षा निदेशक डा. अमरजीत शर्मा ने तकनीकी शिक्षा एवं टीसीपी मंत्री राजेश धर्माणी का स्वागत किया। इस मौके पर विधायक सुरेश कुमार, कैप्टन रणजीत सिंह, विवेक शर्मा और कांगड़ा सेंट्रल कोऑपरेटिव बैंक के चेयरमैन कुलदीप सिंह पठानिया, पूर्व सीपीएस अनीता वर्मा, पूर्व विधायक सोहन लाल, उपायुक्त अमरजीत सिंह, पुलिस अधीक्षक भगत सिंह ठाकुर सहित अन्य अधिकारी और गणमान्य व्यक्ति मौजूद रहे।

Leave a Reply

Your email address will not be published. Required fields are marked *