शिमला, 30 दिसम्बर। हिमाचल प्रदेश में नए साल से सरकारी विभागों में डीजल-पैट्रोल वाहनों की खरीद नहीं होगी। सुक्खू सरकार प्रदेश को हरित ऊर्जा राज्य बनाने व ई-वाहनों को प्रोत्साहित करने के लिए यह कदम उठा रही है। मुख्यमंत्री सुखविंदर सिंह सुक्खू ने सभी सरकारी विभागों को एक जनवरी से डीजल या पैट्रोल वाहन न खरीदने के निर्देश दिए हैं।अति-आवश्यक होने पर केवल प्रदेश मंत्रिमण्डल की स्वीकृति के बाद ही विभाग पैट्रोल या डीजल वाहनों की खरीद कर सकेंगे।
अपने पहले बजट में मुख्यमंत्री सुक्खू ने विद्युत चालित वाहन (ई-वाहन) पर राज्य सरकार का विज़न स्पष्ट किया। राज्य सरकार की इस कवायद से आज सरकारी ई-वाहनों की संख्या 185 हो गई है, जबकि प्रदेश में पंजीकृत निजी इलेक्ट्रिक वाहनों की संख्या 2733 तक पहुंच गई है।
सुखविंदर सिंह सुक्खू का कहना है कि ‘‘राज्य सरकार हिमाचल में ई-व्हीकल को बढ़ावा दे रही है। परिवहन विभाग पहला ऐसा विभाग है, जिसमें ई-वाहन का उपयोग शुरू किया गया तथा चरणबद्ध तरीके से सभी सरकारी महकमों में भी इन वाहनों का संचालन सुनिश्चित किया जा रहा है। ई-वाहन केवलमात्र एक नई शुरूआत नहीं है, बल्कि पर्यावरण संरक्षण के प्रति राज्य सरकार की प्रतिबद्धता को भी दर्शाती है। आने वाली पीढ़ियों के लिए हमें पर्यावरण को सुरक्षित बनाना होगा तथा इसकी शुरूआत आज से ही करनी होगी।’’
उन्होंने कहा कि सरकारी विभागों में गाड़ियों की आवश्यकता पूरी करने के लिए राज्य सरकार ने ई-टैक्सी अनुबंध पर लेने की अनुमति प्रदान की है। 680 करोड़ रुपये की राजीव गांधी स्वरोजगार स्टार्टअप योजना के तहत युवाओं को ई-टैक्सी के परमिट प्रदान किए जा रहे हैं। ई-टैक्सी की खरीद पर 50 प्रतिशत की सब्सिडी भी दी जा रही है। इन गाड़ियों को घर पर भी चार्ज किया जा सकता है तथा राज्य सरकार भी चार्जिंग के लिए आधारभूत ढांचा तैयार कर रही है।
उन्होंने कहा कि ई-वाहनों को बढ़ावा देने के लिए 6 राजमार्गों को ग्रीन कोरिडोर के रूप में विकसित करने का निर्णय लिया गया है। प्रदेश में ई-वाहन चार्जिंग स्टेशनों की स्थापना के लिए परिवहन विभाग ने 54 स्थानों को अंतिम रूप दिया है, जिनमें से कुछ लगभग बनकर तैयार हैं।
सुक्खू ने कहा कि राज्य सरकार लंबे रूटों पर भी ई-बसें चलाने जा रही है। एचआरटीसी के बेड़े में टाइप-1, 2 और 3 ई-बसों को चरणबद्ध तरीके से शामिल किया जा रहा है, ताकि 31 मार्च, 2026 तक हिमाचल को स्वच्छ व हरित ऊर्जा राज्य बनाने का लक्ष्य हासिल किया जा सके।