बेरोजगारी पर हिमाचल विधानभा में विपक्ष का हंगामा, सदन से किया वाकआउट 

धर्मशाला, 22 दिसम्बर। हिमाचल विधानसभा के धर्मशाला में चल रहे शीतकालीन सत्र के चौथे दिन सदन में जमकर हंगामा हुआ है। विपक्ष ने बेरोजगारी के मुद्दे पर सत्तापक्ष की घेराबंदी की कोशिश की। सदन के नेता व मुख्यमंत्री सुखविंदर सिंह सुक्खू ने बेरोजगारी के लिए पिछली भाजपा सरकार की कारगुजारी को जिम्मेदार ठहराया। मुख्यमंत्री ने कहा कि भाजपा सरकार के कार्यकाल में राज्य में भर्ती घोटाले हुए। हमीरपुर चयन आयोग में लाखों रुपये में प्रश्नपत्र बेचे गए। मुख्यमंत्री जब अपनी सरकार के कार्यकाल में दिए जा रहे रोजगार के आंकड़ों को सदन में रख रहे थे, तब विपक्षी सदस्य अपनी सीटों पर खड़े होकर नारेबाजी करने लग गए और उन्होंने सदन से वाकआउट कर दिया। 

दरअसल सदन की कार्यवाही शुरू होते ही विपक्ष ने  बेरोजगारी के मुद्दे पर स्थगन प्रस्ताव के जरिये चर्चा की मांग की थी। इस पर विधानसभा अध्यक्ष कुलदीप सिंह पठानिया ने व्यवस्था दी कि अगर विपक्ष सहमत हो तो इस मुद्दे पर कल सदन में विस्तृत चर्चा कर सकते हैं। विपक्ष इस पर सहमति हो गया। इस बीच नेता प्रतिपक्ष जयराम ठाकुर ने सदन में बोलने की अनुमति मांगी जो कि विधानसभा अध्यक्ष ने दी।

जयराम ठाकुर ने कहा कि प्रदेश में बेरोजगारी एक गम्भीर मुद्दा है। बीते एक साल से प्रदेश में बेरोजगार भटक रहे हैं, हजारों युवाओं को नौकरी नहीं मिल रही है। उन्होंने कहा कि कांग्रेस ने अपनी गारंटी में पहली कैबिनेट में एक लाख और पांच साल में पांच लाख रोजगार देने का वादा किया था, लेकिन एक भी नौकरी नहीं दी गई। इसके विपरीत वर्तमान सरकार ने आउटसोर्स पर लगे 10 हजार कर्मचारियों को भी नौकरी से निकाल दिया।

इस पर मुख्यमंत्री सुखविंदर सिंह सुक्खू ने कहा कि सता पक्ष इस मुद्दे पर चर्चा के लिए तैयार है, लेकिन यह बताना भी जरुरी है कि भाजपा सरकार के समय में कितनी भर्तियां हुई हैं। 

उन्होंने कहा कि पूर्व भाजपा सरकार के कार्यकाल के पांच सालों में मात्र 20 हजार भर्तियां की गई, लेकिन उनकी सरकार ने एक साल में ही 20 हजार पदों पर भर्तियां शुरू की हैं। इनमें शिक्षकों के 6500, पटवारी के 974, वन मित्रों के 2065, नर्सेज के 9500, बस कंडक्टर व ड्राइवर के 300-300,  पुलिस विभाग में 1248, जलशक्ति विभाग में 9500 पदों पर भर्तियां चल रही हैं। 

उन्होंने विपक्ष को घेरते हुए कहा कि पूर्व भाजपा सरकार के समय में पुलिस भर्ती घोटाला हुआ। इसके अलावा हिमाचल प्रदेश कर्मचारी चयन आयोग में लाखों रुपये में पेपर बेचे गए। उन्होंने कहा कि विपक्ष बेरोजगारी के मुद्दे केवल ध्यान भटकाने की कोशिश कर रहा है। इस पर विपक्ष ने सदन में नारेबाजी शुरू कर दी और सदन से वाकआउट कर दिया। 

इससे पहले संसदीय कार्यमंत्री हर्षवर्धन चौहान ने  विपक्ष पर हमला करते हुए कहा कि विपक्ष ने बेरोजगारी के मसले को लेकर सदन के बाहर नाटक किया है और विपक्ष इस पर सुर्खियां बटोरने का काम कर रहा है। 

उन्होंने कहा कि विपक्ष के पास कोई मुद्दा नहीं है। वर्तमान सरकार 20 हजार नौकरियां निकाल चुकी हैं।

उन्होंने कहा कि पूर्व सरकार में कर्मचारी चयन आयोग भ्रष्टाचार का अड्डा बना हुआ था और 12-12 लाख में यहां पेपर बिके। पुलिस भर्ती में घोटाला हुआ और सीबीआई तब जांच के लिए आई जब चुनावों की शुरुआत हो चुकी थी। इस पर सता पक्ष और विपक्ष में तीखी नौक झौंक हुई। जयराम ठाकुर ने हर्षवर्धन चौहान के विपक्ष के ड्रामा करने की बात पर कडा एतराज जताया कि यह लाखों बेरोजगार का विषय है।

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